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इस मामले में कोर्ट के आदेश पर खतौली कोतवाली पुलिस ने आरोपी के खिलाफ आईपीसी की धारा-420, 467, 468 और 471 में एफआईआर दर्ज की है. शिकायतकर्ता ने बताया कि चोहल सिंह का बेटा सुधीर कुमार गंगा विहार खतौली गली नंबर 7 में रहता है. वो मूल रूप से अलावलपुर मजारा थाना भोराकला का निवासी है. 

उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर जिले में हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है. एक शख्स फर्जी प्रमाण पत्रों के आधार पर 31 साल तक नौकरी करते हुए सरकार को चूना लगाता रहा. इस मामले में कोर्ट के आदेश पर उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई है.

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दरअसल, दीपक टंडन नाम के व्यक्ति ने खतौली कस्बा निवासी सुधीर कुमार के खिलाफ कोर्ट में शिकायत की थी. उसने कहा था कि सुधीर ने फर्जी प्रमाण पत्रों के आधार पर खतौली डिपो में 31 साल तक चालक के पद पर सरकारी नौकरी की. 31 अगस्त 2021 को रिटायर हो गया.

इस मामले में कोर्ट के आदेश पर खतौली कोतवाली पुलिस ने आरोपी के खिलाफ आईपीसी की धारा-420, 467, 468 और 471 में एफआईआर दर्ज की है. शिकायतकर्ता ने बताया कि चोहल सिंह का बेटा सुधीर कुमार गंगा विहार खतौली गली नंबर 7 में रहता है. वो मूल रूप से अलावलपुर मजारा थाना भोराकला का निवासी है.

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वो मुजफ्फरनगर की खतौली डिपो में चालक था. 31 अगस्त 2021 को रिटायर हुआ. उसने फर्जी कागजों पर नौकरी पाई. साल 1989 में जब उसकी भर्ती हुई तब ड्राइविंग लाइसेंस में आयु सीमा की शर्तों को वो पूरा नहीं करता था. उसकी जन्म तिथि 15 अगस्त 1965 है, जबकि कागजों में उसने जन्मतिथि 15 अगस्त 1961 बताई है.

उन्होंने आगे बताया, मैंने आरटीआई के तहत जनता इंटर कॉलेज सिसौली से उसका रिकॉर्ड निकलवाया. इसमें पता चला कि जन्म तिथि 15 अगस्त 1965 है. इसके साथ ही अलावरपुर माजरा के प्राथमिक विद्यालय से रिकॉर्ड निकलवाए, वहां से भी इस बात की तस्दीक हुई कि जन्म तिथि 15 अगस्त 1965 है.

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कहा कि इस शख्स ने 31 साल सरकार को बेवकूफ बनाकर नौकरी की. सरकार को इसने लूटा है. इस मामले में सीओ खतौली रविशंकर मिश्रा ने बताया कि न्यायालय के आदेश पर मामला दर्ज किया गया है. मामले की जांच की जा रही है.

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