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1 लाख रुपये तक की मासिक औसत आय पर कोई आयकर नहीं; इससे मध्यम वर्ग की आय और खर्च करने की क्षमता बढ़ेगी।

 

केंद्रीय बजट 2025-26 का सारांश

 

केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी 2025 को बजट पेश किया, जिसमें समावेशी विकास, रोजगार सृजन, औद्योगिक वृद्धि और कर सुधारों पर ध्यान केंद्रित किया गया।

 

प्रमुख घोषणाएँ

 

1. कर सुधार एवं मध्यम वर्ग को राहत

 

1 लाख रुपये तक की मासिक आय पर कोई आयकर नहीं।

 

नई कर व्यवस्था में 12.75 लाख रुपये तक की आय पर कर मुक्त छूट।

 

किराए पर टीडीएस सीमा 2.4 लाख रुपये से बढ़ाकर 6 लाख रुपये।

 

संशोधित आयकर रिटर्न की समयसीमा 2 से बढ़ाकर 4 वर्ष।

 

टीसीएस भुगतान में देरी को अब अपराध नहीं माना जाएगा।

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2. विकास के चार इंजन

 

कृषि:

 

‘प्रधानमंत्री धन-धान्य कृषि योजना’ से 1.7 करोड़ किसान लाभान्वित होंगे।

 

100 निम्न उत्पादन वाले जिलों को शामिल किया जाएगा।

 

अरहर, उड़द और मसूर पर विशेष ध्यान देते हुए “दालों में आत्मनिर्भरता मिशन”।

 

किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) के तहत ऋण सीमा 5 लाख रुपये तक बढ़ाई गई।

 

 

एमएसएमई (सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग):

 

एमएसएमई को गारंटी के साथ ऋण 5 करोड़ से बढ़ाकर 10 करोड़।

 

अनुसूचित जाति/जनजाति की महिलाओं के लिए 5 लाख नए उद्यमियों को ऋण।

 

 

निवेश:

 

सरकारी स्कूलों में 50,000 अटल टिंकरिंग प्रयोगशालाएं स्थापित होंगी।

 

भारतनेट परियोजना के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में ब्रॉडबैंड कनेक्टिविटी।

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500 करोड़ रुपये के साथ AI में उत्कृष्टता केंद्र स्थापित किया जाएगा।

 

 

निर्यात:

 

‘भारत ट्रेडनेट (BTN)’ के तहत व्यापार को डिजिटलीकरण।

 

घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए ‘मेक इन इंडिया’ के तहत राष्ट्रीय विनिर्माण मिशन।

 

 

 

3. बुनियादी ढांचा एवं शहरी विकास

 

1 लाख करोड़ रुपये की शहरी चुनौती निधि।

 

15,000 करोड़ रुपये के साथ 1 लाख आवासीय इकाइयों के निर्माण को गति।

 

120 नए हवाई अड्डों तक उड़ान योजना का विस्तार।

 

 

4. विज्ञान, शिक्षा एवं नवाचार

 

शिक्षा के लिए 500 करोड़ रुपये की लागत से AI उत्कृष्टता केंद्र।

 

निजी क्षेत्र द्वारा अनुसंधान एवं नवाचार के लिए 20,000 करोड़ रुपये आवंटित।

 

पांडुलिपियों के संरक्षण के लिए ‘ज्ञान भारत मिशन’।

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5. वित्तीय सुधार और विदेशी निवेश

 

बीमा क्षेत्र में एफडीआई सीमा 74% से बढ़ाकर 100%।

 

वित्तीय स्थिरता और विकास परिषद (FSDC) के तहत नियामक सुधार।

 

जन विश्वास विधेयक 2.0 के तहत 100 से अधिक कानूनों का सरलीकरण।

 

 

6. स्वास्थ्य और सामाजिक सुरक्षा

 

कैंसर और अन्य गंभीर बीमारियों की 36 जीवनरक्षक दवाओं को सीमा शुल्क से छूट।

 

गिग वर्करों को पहचान पत्र और ई-श्रम पोर्टल पर पंजीकरण।

 

 

निष्कर्ष

 

बजट 2025-26 में कर राहत, कृषि, उद्योग, बुनियादी ढांचे और सामाजिक सुरक्षा पर संतुलित ध्यान दिया गया है। यह बज

ट “विकसित भारत” के लक्ष्य को साकार करने के लिए समावेशी विकास की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है।