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तीन दिन से लापता दमुवाढूंगा निवासी इंजीनियर की संदिग्ध हालात में मौत हो गई। उसका शव नहर से बरामद हुआ। इंजीनियर की पत्नी और पिता की तबीयत खराब होने के चलते उन्हें जानकारी नहीं दी गई। रिश्तेदारों को घटना की जानकारी देकर शव पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया।

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तीन दिन से लापता दमुवाढूंगा निवासी इंजीनियर की संदिग्ध हालात में मौत हो गई। उसका शव नहर से बरामद हुआ। इंजीनियर की पत्नी और पिता की तबीयत खराब होने के चलते उन्हें जानकारी नहीं दी गई। रिश्तेदारों को घटना की जानकारी देकर शव पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया।

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दमुवाढूंगा स्थित गुरुदेव कॉलोनी निवासी सेवानिवृत्त प्राचार्य रमेश चंद्र के बेटे विवेक कुमार (40) का शव रविवार को वर्कशॉप लाइन मार्ग पर बरसाती नहर में पड़ा मिला। स्थानीय लोगों की सूचना पर पहुंची कोतवाली पुलिस ने शव निकाला।

मृतक की जेब में मिले आधार कार्ड से उसकी शिनाख्त हुई। पुलिस ने दमुवाढूंगा चौकी से संपर्क किया और परिजनों की जानकारी जुटाई। चौकी पुलिस जब घर पहुंची तो परिवार वाले घबरा गए लेकिन जब पता चला कि विवेक के पिता अस्पताल में भर्ती हैं और पत्नी सरिता की तबीयत भी खराब है तो पुलिस ने बात को टाल दिया। इसके बाद पड़ोस में रहने वाले महेशानंद को जानकारी दी।

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जानकारी के मुताबिक विवेक की पत्नी सरिता, मां भगवंती देवी और बहन को देर शाम तक केवल चोट लगने की सूचना दी गई थी। छोटे भाई को इसकी जानकारी दे दी गई है।

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निजी अस्पताल में भर्ती विवेक के पिता रमेश चंद्र को घटना के बारे में नहीं बताया गया। पुलिस ने शव पोस्टमार्टम के लिए भिजवा दिया है। सीओ भूपेंद्र सिंह धौनी ने बताया कि मामला संदिग्ध है। शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। रिपोर्ट मिलने के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।

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