ज्योतिष के अनुसार शनि ग्रह ढाई साल में राशि परिवर्तन करते हैं. इस तरह उन्हें राशि चक्र पूरा करके किसी भी राशि में दोबारा पहुंचने में 30 साल का समय लग जाता है. अगले साल 17 जनवरी 2023 को शनि स्वराशि कुंभ में 30 साल बाद पहुंचेंगे. हालांकि शनि ने अप्रैल 2022 में भी राशि गोचर करके प्रवेश किया था लेकिन कुछ समय बाद वक्री होने के कारण फिर से मकर राशि में संचरण करने लगे थे. अब शनि कुंभ राशि में प्रवेश करेंगे और 2025 तक इसी राशि में रहेंगे. शनि के राशि परिवर्तन के कारण कुछ राशियों पर साढ़े साती और ढैय्या शुरू होगी, साथ ही खत्म भी होगी.
कुंभ पर शुरू होगा साढ़े साती का दूसरा चरण
शनि का कुंभ राशि में प्रवेश कुंभ पर साढ़े साती का दूसरा चरण शुरू करेगा. ज्योतिष में साढ़े साती के दूसरे चरण को सबसे ज्यादा खतरनाक माना गया है, क्योंकि ये मानसिक, आर्थिक, शारीरिक तौर पर कष्ट देता है. हालांकि शनि कुंभ राशि के ही स्वामी हैं इसलिए उनके लिए यह समय उतना कष्टकारी नहीं रहेगा. बल्कि कुछ मामलों में लाभ ही देगा. वैसे भी शनि साढ़े साती और ढैय्या के दौरान उन लोगों को ज्यादा कष्ट देते हैं, जिनकी कुंडली में शनि अशुभ स्थिति में हों, या जिनके कर्म ठीक न हों.
कुंभ राशि वालों पर साढ़े साती का होगा ऐसा असर
17 जनवरी 2023 को शनि गोचर होते ही कुंभ राशि वालों को सेहत के मामले में लाभ मिल सकता है. इन जातकों को पुरानी बीमारियों से राहत मिल सकती है. इसके अलावा अब तक जो लोग बेतहाशा खर्चों के कारण परेशान थे, उन्हें राहत मिल सकती है. हालांकि शनि की टेढ़ी नजर उनकी एकाग्रता पर बुरा असर डाल सकती है. परीक्षा-इंटरव्यू की तैयारी कर रहे जातक अपने लक्ष्य से भटक सकते हैं.
वैवाहिक जीवन में समस्याएं देंगे शनि
साढ़े साती के दूसरे चरण के दौरान कुंभ राशि के जातकों को वैवाहिक जीवन में समस्याएं हो सकती हैं. जीवनसाथी से मतभेद बढ़ सकते हैं. रिश्ते पर बुरा असर पड़ सकता है. वहीं सिंगल जातकों के विवाह में देरी हो सकती है. वाणी में कड़वाहट से बचें.