हिंडनबर्ग की रिपोर्ट आने के बाद शेयर बाजार में खलबली मची हुई है. ऐसे में वे लोग भी बेहद चिंतित हैं, जिन्होंने LIC में इन्वेस्ट किया हुआ है. उनकी चिंताओं को दूर करने के लिए LIC के चेयरमैन एम. आर. कुमार का बयान सामने आया है. उन्होंने कहा है कि घबराने वाली कोई बात नहीं है.
अमेरिकी रिसर्च एजेंसी हिंडनबर्ग की रिपोर्ट के बाद अडानी समूह (Adani Group) के शेयर्स में जबरदस्त गिरावट दिख रही है. इस बीच बिजनेसमैन गौतम अडानी के नेतृत्व वाले ग्रुप में अपने निवेश को लेकर भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) की तरफ से बयान आया है. LIC के चेयरमैन एम. आर. कुमार (M R Kumar) ने बिजनेस टुडे से बातचीत में कहा है कि LIC के पॉलिसी होल्डर्स और शेयर धारकों को अपने निवेश के बारे में बिल्कुल भी चिंता करने की जरूरत नहीं है.
एम. आर. कुमार का यह बयान इसलिए भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि 24 जनवरी को हिंडनबर्ग की रिपोर्ट जारी होने के बाद लगातार एलआईसी और SBI पर अडानी ग्रुप में निवेश करने और उन्हें लोन मुहैया कराने को लेकर सवाल खड़े किए जा रहे थे. कुमार ने आगे कहा, ‘शेयरधारकों और पॉलिसीधारकों को चिंतित होने वाली कोई बात नहीं है. उनके लिए एक प्रतिशत भी जोखिम नहीं है. उनके निवेश पर इसका कोई असर नहीं होगा.’
अडानी ग्रुप के शीर्ष प्रबंधन से मिलने के बारे में पूछे जाने पर कुमार ने कहा कि कंपनी जल्द ही अडानी समूह के शीर्ष प्रबंधन से संपर्क करेगी, ताकि हाल की घटनाओं से जुड़े पूरे मामले को बेहतर तरीके से समझा जा सके. एक सप्ताह में या 10 दिन के अंदर LIC की टीम और अन्य अधिकारी उनसे मुलाकात कर वर्तमान हालात और भविष्य की योजनाओं को लेकर चर्चा करेंगे.
हाल ही में 7 फरवरी को केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री भागवत किशनराव कराड ने संसद को बताया था कि LIC ने अदानी समूह की अलग-अलग कंपनियों में इक्विटी हिस्सेदारी खरीदने के लिए पिछले कुछ सालों में 30,127 करोड़ रुपये का निवेश किया है. राज्यसभा में एक प्रश्न के उत्तर में कराड ने कहा था कि 31 दिसंबर 2022 तक अडानी समूह की कंपनियों में LIC की कुल हिस्सेदारी 35,917 करोड़ रुपये है. इसमें इक्विटी और लोन दोनों शामिल हैं.
बता दें कि हिंडनबर्ग की रिपोर्ट में अदानी ग्रुप पर फर्जी लेन-देन, शेयरों में हेरा-फेरी समेत कर्ज को लेकर कई आरोप लगाए गए हैं. इसमें 88 सवालों के जरिए कई दावे भी किए गए हैं. 24 जनवरी 2023 को इस रिपोर्ट के पब्लिश होने के बाद से अडानी ग्रुप को 117 अरब डॉलर से ज्यादा का नुसकान हो चुका है.