खबर शेयर करें -

मूल निवास और भू कानून को लेकर रविवार 24 दिसंबर को देहरादून में विशाल रैली हुई थी. इसके अगले दिन यानी 25 दिसंबर को कांग्रेस की प्रेस वार्ता में पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने भू कानून को लेकर राजनीतिक अफेयर्स कमेटी की बैठक बुलाने की बात कही थी. अब पार्टी के प्रवक्ताओं ने करन माहरा का बचाव करते हुए इस पर सफाई दी है. इसके साथ ही कांग्रेस ने भू कानून पर विधानसभा का विशेष सत्र बुलाकर बिल पेश करने की मांग सरकार से की है.

कांग्रेस पार्टी ने भू कानून और मूल निवास को लेकर सफाई दी है. कांग्रेस पार्टी का कहना है कि वो पहले से ही पूरी तरह से इसके समर्थन में रही है. पार्टी की प्रदेश प्रवक्ता गरिमा दसौनी और शीशपाल बिष्ट का कहना है कि कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने 25 दिसंबर को एक प्रेस वार्ता की थी.

यह भी पढ़ें -  हल्द्वानी: किच्छा के चाचा लाया नशे की खेप, धरा गया इंजेक्शन तस्कर

मूल निवास के मुद्दे पर कांग्रेस की सफाई:

प्रेस वार्ता में राज्य की कानून व्यवस्था और महिला सुरक्षा के साथ अंकिता भंडारी हत्याकांड मामले में साक्ष्य मिटाने और छुपाने के दोषियों पर कानून कारवाई किए जाने की मांग की थी. इस दौरान एक सवाल के जवाब में माहरा ने कहा कि मूल निवास 1950 की मांग पर व्यापक विचार विमर्श की जरूरत है. इसके लिए सर्वसम्मति बननी चाहिए. इसलिए बहुत जल्दी कांग्रेस पार्टी अपनी राजनीतिक अफेयर्स कमेटी की बैठक बुलाएगी और इस पर विचार विमर्श करेगी.

यह भी पढ़ें -  हल्द्वानी: परिवार में मारपीट, तमंचा लेकर दौड़ा युवक

करन माहरा के बयान का किया बचाव:

कांग्रेस प्रवक्ताओं का कहना है कि करन माहरा के बयान को तोड़ मरोड़कर प्रकाशित किया गया. गरिमा का कहना है कि राज्य गठन के बाद तत्कालीन एनडी तिवारी सरकार ने राज्य में व्यापक चर्चा के बाद मूल निवास और भू कानून के मसले को हल कर दिया था. राज्य गठन के बाद उनकी सरकार भू कानून लेकर आई. उस कानून के अनुसार कोई भी बाहरी व्यक्ति प्रदेश में मात्र 500 वर्ग मीटर की जमीन खरीद सकता है.

विधानसभा का विशेष सत्र बुलाने की मांग:

यह भी पढ़ें -  मरचूला बस हादसे में घायल को अस्पताल पहुंचाने वाले एंबुलेंस चालक द्वारा पैसे की मांग करने पर लाइसेंस सस्पेंड

बीजेपी की त्रिवेंद्र सरकार ने 2018 में उत्तराखंड जमींदारी विनाश अधिनियम में संशोधन कर भूमि के लूट की खुली छूट दे दी. जिसका जमकर दुरुपयोग हुआ. पार्टी की प्रदेश प्रवक्ता गरिमा दसौनी और शीशपाल बिष्ट ने संयुक्त रूप से कहा कि मूल निवास और भू कानून पर भाजपा का क्या स्टैंड है, उन्हें यह स्पष्ट करना चाहिए. सरकार को विधानसभा सत्र बुलाकर बिल पेश करना चाहिए. उन्होंने कहा कि कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने मूल निवास 1950 की मांग पर व्यापक विचार विमर्श पर जोर दिया है. अपनी राजनीतिक अफेयर्स कमेटी की बैठक बुलाकर विचार विमर्श करने को कहा है.